Gold Rate Today: पिछले कुछ दिनों से सोने की कीमतों में बड़ी गिरावट देखने को मिल रही है। यह गिरावट पिछले 30 सालों में सबसे बड़ी मानी जा रही है। अप्रैल 2024 में सोना अपने रिकॉर्ड उच्च स्तर 7 3,958 रुपये प्रति 10 ग्राम तक पहुंच गया था। लेकिन अब इसके दाम तेजी से गिर रहे हैं। पिछले कुछ दिनों में ही सोना 2,000 रुपये से ज्यादा सस्ता हो चुका है।
इस गिरावट के पीछे कई कारण हैं। मिडिल ईस्ट में तनाव कम होना, अमेरिकी डॉलर का मजबूत होना और ब्याज दरों में कटौती की उम्मीदों में कमी प्रमुख कारण हैं। इस लेख में हम सोने की कीमतों में आई इस बड़ी गिरावट के बारे में विस्तार से जानेंगे। साथ ही 14 से 24 कैरेट गोल्ड के ताजा भाव की जानकारी भी देंगे।
सोने की कीमतों में गिरावट का कारण
सोने की कीमतों में आई इस बड़ी गिरावट के पीछे कई कारण हैं:
- मिडिल ईस्ट में तनाव कम होना: पिछले कुछ महीनों से मिडिल ईस्ट में तनाव बढ़ा हुआ था। इस वजह से निवेशक सुरक्षित निवेश के लिए सोने की ओर रुख कर रहे थे। लेकिन अब इस क्षेत्र में तनाव कम होने के संकेत मिल रहे हैं। इससे सोने की मांग कम हो रही है।
- अमेरिकी डॉलर का मजबूत होना: अमेरिकी डॉलर के मजबूत होने से सोने की कीमतों पर दबाव बढ़ा है। डॉलर मजबूत होने से अन्य देशों की मुद्राओं में सोना खरीदना महंगा हो जाता है। इससे सोने की मांग कम होती है।
- ब्याज दरों में कटौती की उम्मीदों में कमी: पहले उम्मीद थी कि अमेरिकी फेडरल रिजर्व जल्द ही ब्याज दरों में कटौती कर सकता है। लेकिन अब ऐसा लगता है कि यह कटौती जल्द नहीं होगी। इससे सोने की आकर्षकता कम हुई है।
- वैश्विक आर्थिक स्थिति में सुधार: कोरोना महामारी के बाद दुनिया भर की अर्थव्यवस्था में सुधार के संकेत मिल रहे हैं। ऐसे में निवेशक सुरक्षित निवेश की जगह जोखिम वाले निवेश की ओर रुख कर रहे हैं।
- सोने की मांग में कमी: शादी-ब्याह के मौसम खत्म होने के बाद सोने की मांग में कमी आई है। इससे भी कीमतों पर दबाव बढ़ा है।
सोने के वर्तमान दाम
वर्तमान में सोने के दाम इस प्रकार हैं:
कैरेट | दाम (रुपये प्रति 10 ग्राम) |
24 कैरेट | 70,451 |
22 कैरेट | 64,580 |
18 कैरेट | 52,838 |
14 कैरेट | 41,210 |
ये दाम बाजार के हिसाब से बदल सकते हैं। अलग-अलग शहरों में सोने के दाम में थोड़ा अंतर हो सकता है।
सोने के दाम में गिरावट का असर
सोने की कीमतों में आई इस गिरावट का कई लोगों पर असर पड़ेगा:
- निवेशकों के लिए: जो लोग लंबे समय के लिए सोने में निवेश करना चाहते हैं, उनके लिए यह अच्छा मौका हो सकता है। कम कीमत पर सोना खरीदकर वे भविष्य में अच्छा मुनाफा कमा सकते हैं।
- ज्वैलरी खरीदारों के लिए: शादी-ब्याह के मौसम में सोने के सस्ता होने से ज्वैलरी खरीदारों को राहत मिल सकती है। वे कम कीमत पर अपनी पसंद के गहने खरीद सकते हैं।
- अर्थव्यवस्था पर: सोने के आयात पर खर्च कम होने से देश के विदेशी मुद्रा भंडार पर दबाव कम हो सकता है। इससे रुपये की मजबूती में मदद मिल सकती है।
- सोना कारोबारियों पर: सोने की कीमतों में गिरावट से सोना कारोबारियों को नुकसान हो सकता है। उन्हें अपने स्टॉक को कम कीमत पर बेचना पड़ सकता है।
- बैंकों पर: कई बैंक सोने के बदले लोन देते हैं। सोने की कीमत गिरने से इन लोन की वैल्यू कम हो सकती है।
क्या आगे भी सोने के दाम गिरेंगे?
यह कहना मुश्किल है कि आगे सोने के दाम और गिरेंगे या नहीं। कई विशेषज्ञों का मानना है कि:
- अगर अमेरिकी डॉलर मजबूत बना रहता है तो सोने के दाम और गिर सकते हैं।
- लेकिन अगर दुनिया की अर्थव्यवस्था में कोई बड़ा झटका आता है, तो सोने की कीमतें फिर से बढ़ सकती हैं।
- त्योहारों के मौसम में सोने की मांग बढ़ने से इसके दाम में कुछ तेजी आ सकती है।
- अगर अमेरिका में ब्याज दरों में कटौती होती है, तो सोने की कीमतों में तेजी आ सकती है।
- भारत में मानसून कैसा रहता है, इस पर भी सोने की कीमतें निर्भर करेंगी। अच्छा मानसून होने पर ग्रामीण क्षेत्रों में सोने की मांग बढ़ सकती है।
सोने के दाम कैसे तय होते हैं?
सोने के दाम कई कारकों पर निर्भर करते हैं। इनमें से कुछ प्रमुख कारक हैं:
- वैश्विक कीमतें: भारत में सोने के दाम अंतरराष्ट्रीय बाजार से तय होते हैं। लंदन बुलियन मार्केट एसोसिएशन (LBMA) द्वारा तय किए गए दाम के आधार पर भारत में सोने की कीमतें तय होती हैं।
- डॉलर की मजबूती: अमेरिकी डॉलर मजबूत होने पर सोना सस्ता होता है। क्योंकि सोने का कारोबार डॉलर में होता है।
- ब्याज दरें: कम ब्याज दरों पर सोने की मांग बढ़ती है। क्योंकि ऐसे में बैंक में पैसा रखने पर कम रिटर्न मिलता है।
- मांग और आपूर्ति: त्योहारों के समय मांग बढ़ने से दाम बढ़ते हैं। वहीं आपूर्ति कम होने पर भी कीमतें बढ़ती हैं।
- सरकारी नीतियां: आयात शुल्क या GST में बदलाव से कीमतें प्रभावित होती हैं।
- भू-राजनीतिक स्थिति: दुनिया में तनाव बढ़ने पर सोने की मांग बढ़ती है, जिससे कीमतें बढ़ती हैं।
भारत में सोने का महत्व
भारत दुनिया का दूसरा सबसे बड़ा सोने का उपभोक्ता है। यहां सोने का बहुत महत्व है:
- सांस्कृतिक महत्व: भारत में शादी-ब्याह और त्योहारों पर सोने के गहने पहनने की परंपरा है।
- निवेश का साधन: कई लोग सोने को सुरक्षित निवेश मानते हैं। मुश्किल समय के लिए सोना खरीदकर रखते हैं।
- आर्थिक सुरक्षा: ग्रामीण क्षेत्रों में सोना आर्थिक सुरक्षा का एक महत्वपूर्ण साधन है।
- बैंकिंग सिस्टम: कई बैंक सोने के बदले लोन देते हैं। इससे लोगों को आसानी से कर्ज मिल जाता है।
- अर्थव्यवस्था पर प्रभाव: सोने के आयात से भारत के विदेशी मुद्रा भंडार पर असर पड़ता है।
सोने में निवेश करना चाहिए या नहीं?
सोने में निवेश करने के फायदे और नुकसान दोनों हैं। कुछ बातें ध्यान में रखनी चाहिए:
फायदे:
- सुरक्षित निवेश: सोना लंबे समय में अपना मूल्य बनाए रखता है।
- मुद्रास्फीति से बचाव: महंगाई बढ़ने पर सोने की कीमत भी बढ़ती है।
- आसान खरीद-बिक्री: सोना आसानी से खरीदा और बेचा जा सकता है।
नुकसान:
- कोई आय नहीं: सोने से कोई नियमित आय नहीं मिलती।
- स्टोरेज की समस्या: फिजिकल गोल्ड रखने के लिए सुरक्षित जगह की जरूरत होती है।
- शुद्धता की चिंता: सोने की शुद्धता का पता लगाना मुश्किल हो सकता है।
निवेश के लिए सुझाव:
- लंबी अवधि के लिए: सोने में निवेश लंबी अवधि के लिए करना चाहिए।
- पोर्टफोलियो का हिस्सा: अपने निवेश पोर्टफोलियो का 10-15% हिस्सा ही सोने में रखें।
- विकल्प देखें: फिजिकल गोल्ड के अलावा गोल्ड ETF या सॉवरेन गोल्ड बॉन्ड जैसे विकल्प भी हैं।
- खरीदने का समय: जब कीमतें गिर रही हों तो धीरे-धीरे खरीदारी करें।