Old Pension Scheme : केंद्र सरकार ने हाल ही में एक बड़ा फैसला लिया है जो लाखों सरकारी कर्मचारियों के लिए खुशखबरी लेकर आया है। सरकार ने एकीकृत पेंशन योजना (यूनिफाइड पेंशन स्कीम – UPS) को मंजूरी दे दी है, जिससे लगभग 23 लाख केंद्रीय सरकारी कर्मचारियों को फायदा होगा। यह नई योजना सेवानिवृत्ति के बाद कर्मचारियों को आर्थिक सुरक्षा और स्थिरता प्रदान करने के लिए बनाई गई है।
इस नई पेंशन योजना का मुख्य उद्देश्य कर्मचारियों को रिटायरमेंट के बाद एक निश्चित और भरोसेमंद पेंशन सुनिश्चित करना है। यह योजना मौजूदा नेशनल पेंशन सिस्टम (NPS) की कुछ कमियों को दूर करने और पुरानी पेंशन योजना (OPS) की कुछ अच्छी विशेषताओं को शामिल करने का प्रयास है। आइए इस नई योजना के बारे में विस्तार से जानें और समझें कि यह कैसे 23 लाख सरकारी कर्मचारियों के जीवन में सकारात्मक बदलाव लाएगी।
एकीकृत पेंशन योजना (UPS) क्या है?
एकीकृत पेंशन योजना (UPS) एक नई पेंशन व्यवस्था है जो केंद्र सरकार द्वारा अपने कर्मचारियों के लिए शुरू की गई है। यह योजना मौजूदा नेशनल पेंशन सिस्टम (NPS) का एक विकल्प है और इसमें कई नए फायदे शामिल किए गए हैं। UPS का मुख्य उद्देश्य सरकारी कर्मचारियों को रिटायरमेंट के बाद एक सुरक्षित और पर्याप्त पेंशन प्रदान करना है।
UPS की मुख्य विशेषताएं
विशेषता | विवरण |
न्यूनतम सेवा अवधि | 10 साल |
अधिकतम पेंशन | 50% औसत बेसिक पे (पिछले 12 महीने का) |
न्यूनतम पेंशन | ₹10,000 प्रति माह |
परिवार पेंशन | मृत्यु के बाद पति/पत्नी को 60% पेंशन |
महंगाई राहत | AICPI-IW के आधार पर |
एकमुश्त भुगतान | हर 6 महीने की सेवा पर 1/10 मासिक वेतन |
कर्मचारी योगदान | बेसिक पे + DA का 10% |
सरकारी योगदान | 18.5% |
UPS के प्रमुख लाभ
- सुनिश्चित पेंशन: 25 साल की सेवा पूरी करने वाले कर्मचारियों को रिटायरमेंट से पहले के अंतिम 12 महीनों के औसत बेसिक वेतन का 50% पेंशन के रूप में मिलेगा।
- आनुपातिक पेंशन: 10 से 25 साल की सेवा के लिए सेवा अवधि के अनुसार आनुपातिक पेंशन दी जाएगी।
- न्यूनतम पेंशन गारंटी: कम से कम 10 साल की सेवा पूरी करने वाले कर्मचारियों को ₹10,000 प्रति माह की न्यूनतम पेंशन मिलेगी।
- परिवार पेंशन: कर्मचारी की मृत्यु के बाद उसके पति या पत्नी को मूल पेंशन का 60% परिवार पेंशन के रूप में मिलेगा।
- महंगाई राहत: सेवारत कर्मचारियों की तरह ही पेंशनरों को भी AICPI-IW के आधार पर महंगाई राहत मिलेगी।
- एकमुश्त राशि: ग्रेच्युटी के अलावा, हर 6 महीने की सेवा के लिए एक माह के वेतन का 1/10वां हिस्सा एकमुश्त राशि के रूप में मिलेगा।
UPS और NPS में अंतर
एकीकृत पेंशन योजना (UPS) और नेशनल पेंशन सिस्टम (NPS) में कुछ महत्वपूर्ण अंतर हैं:
- पेंशन की गारंटी:
- UPS: पेंशन की एक निश्चित राशि की गारंटी देता है।
- NPS: पेंशन की राशि बाजार के प्रदर्शन पर निर्भर करती है।
- सरकारी योगदान:
- UPS: सरकार 18.5% का योगदान देगी।
- NPS: सरकार 14% का योगदान देती है।
- न्यूनतम पेंशन:
- UPS: ₹10,000 प्रति माह की न्यूनतम पेंशन की गारंटी।
- NPS: कोई न्यूनतम पेंशन गारंटी नहीं।
- परिवार पेंशन:
- UPS: मूल पेंशन का 60% परिवार पेंशन।
- NPS: परिवार पेंशन की व्यवस्था नहीं।
- महंगाई राहत:
- UPS: AICPI-IW के आधार पर महंगाई राहत।
- NPS: महंगाई राहत की कोई व्यवस्था नहीं।
UPS का प्रभाव और लाभार्थी
एकीकृत पेंशन योजना (UPS) का प्रभाव व्यापक होगा और इससे लाखों सरकारी कर्मचारियों को लाभ मिलेगा:
- तत्काल लाभार्थी: लगभग 23 लाख केंद्रीय सरकारी कर्मचारी इस योजना से सीधे लाभान्वित होंगे।
- संभावित विस्तार: अगर राज्य सरकारें भी इस योजना को अपनाती हैं, तो लाभार्थियों की संख्या बढ़कर 90 लाख तक हो सकती है।
- वित्तीय सुरक्षा: यह योजना कर्मचारियों को रिटायरमेंट के बाद बेहतर वित्तीय सुरक्षा प्रदान करेगी।
- परिवार सुरक्षा: परिवार पेंशन की व्यवस्था से कर्मचारी के परिवार को भी सुरक्षा मिलेगी।
- मुद्रास्फीति से सुरक्षा: महंगाई राहत की व्यवस्था से पेंशनरों को मुद्रास्फीति से बचाव मिलेगा।
UPS के लिए पात्रता और विकल्प
एकीकृत पेंशन योजना (UPS) के लिए पात्रता और विकल्प चुनने की प्रक्रिया इस प्रकार है:
- पात्रता:
- वर्तमान में NPS के तहत आने वाले सभी केंद्रीय सरकारी कर्मचारी।
- NPS के तहत सेवानिवृत्त हो चुके कर्मचारी भी।
- विकल्प चुनना:
- कर्मचारी NPS और UPS में से किसी एक को चुन सकते हैं।
- यह विकल्प 1 अप्रैल, 2025 से उपलब्ध होगा।
- स्विच करने की अनुमति नहीं:
- एक बार UPS चुनने के बाद वापस NPS में जाने की अनुमति नहीं होगी।
- न्यूनतम सेवा अवधि:
- UPS के लाभ पाने के लिए कम से कम 10 साल की सेवा आवश्यक है।
- योगदान:
- कर्मचारियों को अपने बेसिक वेतन और महंगाई भत्ते का 10% योगदान देना होगा।
UPS का वित्तीय प्रभाव
एकीकृत पेंशन योजना (UPS) का सरकारी खजाने और अर्थव्यवस्था पर महत्वपूर्ण प्रभाव पड़ेगा:
- वार्षिक अतिरिक्त व्यय:
- सरकार पर प्रति वर्ष लगभग ₹6,250 करोड़ का अतिरिक्त बोझ पड़ेगा।
- यह राशि कर्मचारियों की संख्या में बदलाव के साथ हर साल अलग हो सकती है।
- बकाया राशि:
- 31 मार्च, 2025 से पहले सेवानिवृत्त होने वाले कर्मचारियों के लिए NPS के तहत ₹800 करोड़ की बकाया राशि का भुगतान करना होगा।
- दीर्घकालिक प्रतिबद्धता:
- सुनिश्चित पेंशन भविष्य में सरकार के प्रतिबद्ध खर्च में वृद्धि करेगी।
- राजकोषीय समेकन:
- इस योजना को आगे चलकर राजकोषीय समेकन रोडमैप में शामिल करना होगा।
- कर्मचारियों के लिए निश्चितता:
- यह योजना कर्मचारियों के लिए पेंशन लाभों की अनिश्चितता को कम करेगी।